Career Counselling Program

About Your Trainers

Welcome to all

My name is Ranjeet Verma. I belong to District Prayagraj formaly known as Allahabad, Uttar Pradesh, India. I have a long career journey in various field such as Teaching, Training, Law, Computer, Internet, Social activities, Book writing etc. Our mission is to guide such students who are passionate and want to fast success in his life. We provide assistance as a mentor to choose right subject and direction to go ahead in his life. If one can get success why you can not. You are also a intellegence person on this earth. God has given you a such amazing life to you utilized it in a best manner and serve the society to elevate other.

Thank you.

Trainers Quote

Direction is much more important than speed

Why Career Counselling is Important

**कैरियर काउंसलिंग क्यों महत्वपूर्ण है?**

कैरियर काउंसलिंग का महत्व आज के प्रतिस्पर्धात्मक युग में तेजी से बढ़ रहा है। यह छात्रों, पेशेवरों और यहां तक कि उन लोगों के लिए उपयोगी है जो करियर परिवर्तन के बारे में सोच रहे हैं। कैरियर काउंसलिंग व्यक्ति को अपनी क्षमताओं, रुचियों और महत्वाकांक्षाओं के आधार पर सही निर्णय लेने में मदद करती है।

 1. **स्वयं को समझने में मदद**
कई बार व्यक्ति को अपनी रुचियों, क्षमताओं और कमजोरियों का सही आकलन नहीं होता। कैरियर काउंसलिंग व्यक्तित्व परीक्षण, रुचि मूल्यांकन, और क्षमता परीक्षण के माध्यम से आत्मविश्लेषण करने में मदद करती है। यह सुनिश्चित करता है कि व्यक्ति अपनी योग्यता और रुचि के अनुरूप करियर चुन सके।

 2. **सही करियर विकल्प चुनना**
आज के समय में करियर के अनेकों विकल्प उपलब्ध हैं। डॉक्टर, इंजीनियर, वकील, टीचर, कलाकार, डिजिटल मार्केटर, डेटा एनालिस्ट, और कई नए क्षेत्र जैसे AI और रोबोटिक्स में भी करियर के अवसर हैं। सही मार्गदर्शन के बिना इन विकल्पों के बीच सही निर्णय लेना मुश्किल हो सकता है।

 3. **भ्रम और तनाव को कम करना**
कई छात्र और पेशेवर करियर के निर्णय को लेकर भ्रमित रहते हैं। यह तनाव और आत्मविश्वास की कमी का कारण बन सकता है। कैरियर काउंसलिंग इस उलझन को दूर करने में मदद करती है और व्यक्ति को मानसिक रूप से मजबूत बनाती है।

4. **भविष्य के लक्ष्यों की योजना**
कैरियर काउंसलर व्यक्ति को शॉर्ट-टर्म और लॉन्ग-टर्म गोल निर्धारित करने में मदद करता है। इससे न केवल वर्तमान में निर्णय लेना आसान होता है, बल्कि व्यक्ति को अपने भविष्य के लिए भी स्पष्टता मिलती है।

5. **मार्केट ट्रेंड्स की जानकारी**
कई बार व्यक्ति ऐसे करियर की ओर बढ़ता है जो भविष्य में अप्रासंगिक हो सकता है। कैरियर काउंसलिंग में विशेषज्ञ व्यक्ति को वर्तमान और भविष्य के उद्योग ट्रेंड्स के बारे में जानकारी प्रदान करते हैं, ताकि व्यक्ति अपने करियर के लिए सही दिशा में कदम बढ़ा सके।

6. **स्किल डेवेलपमेंट का मार्गदर्शन**
केवल डिग्री प्राप्त करना पर्याप्त नहीं है; वर्तमान समय में स्किल्स का भी उतना ही महत्व है। कैरियर काउंसलिंग यह बताती है कि व्यक्ति को अपने करियर में सफलता के लिए किन अतिरिक्त कौशलों को विकसित करने की आवश्यकता है।

 7. **करियर बदलाव में मदद**
जो लोग अपने वर्तमान करियर से संतुष्ट नहीं हैं, उनके लिए भी कैरियर काउंसलिंग बहुत उपयोगी है। यह उन्हें उनके अनुभव और रुचियों के आधार पर नए करियर विकल्प खोजने में सहायता करती है।

 निष्कर्ष-
कैरियर काउंसलिंग केवल एक मार्गदर्शन प्रक्रिया नहीं है, बल्कि यह व्यक्ति के जीवन को सही दिशा देने का माध्यम है। सही काउंसलिंग से व्यक्ति अपने करियर में सफलता और संतोष दोनों प्राप्त कर सकता है। इसलिए, हर छात्र और पेशेवर को कैरियर काउंसलिंग का लाभ लेना चाहिए ताकि वे अपने भविष्य के लिए सटीक और समझदारीपूर्ण निर्णय ले सकें।

करियर काउंसलिंग न लेने के नुकसान

**: जीवन की दिशा में भटकाव**

करियर काउंसलिंग वह महत्वपूर्ण प्रक्रिया है जो किसी व्यक्ति को उसकी रुचि, क्षमता, और संभावनाओं के आधार पर सही करियर चुनने में मदद करती है। इसे नजरअंदाज करना एक बड़ी गलती हो सकती है। आइए समझते हैं कि करियर काउंसलिंग न लेने के क्या नुकसान हो सकते हैं:

**1. गलत करियर का चुनाव**
अक्सर छात्र परिवार, दोस्तों, या समाज के प्रभाव में बिना सोचे-समझे करियर का चुनाव कर लेते हैं। लेकिन यह फैसला उनके कौशल या रुचियों से मेल नहीं खाता। नतीजा यह होता है कि व्यक्ति उस करियर में न तो खुश रह पाता है और न ही सफलता प्राप्त कर पाता है।

 **2. समय और धन की बर्बादी**
गलत करियर चुनने के कारण व्यक्ति बार-बार कोर्स बदलता है या असफल प्रयासों में अपना समय और पैसा गंवा देता है। इससे न केवल वित्तीय तनाव होता है, बल्कि उनका आत्मविश्वास भी कमजोर हो जाता है।

 **3. आत्मविश्वास की कमी और तनाव**
करियर में असफलता या गलत दिशा में जाने से व्यक्ति आत्मग्लानि का शिकार हो सकता है। यह तनाव, निराशा और आत्मविश्वास की कमी का कारण बनता है, जिससे वह अपनी क्षमताओं पर भी शक करने लगता है।

 **4. सही अवसरों से चूक**
करियर काउंसलिंग व्यक्ति को उन करियर विकल्पों से परिचित कराती है जिनके बारे में उसे जानकारी नहीं होती। इसे न लेने पर व्यक्ति उभरते हुए नए करियर विकल्पों और अवसरों को पहचानने में चूक सकता है, जिससे उसकी प्रगति रुक जाती है।

 **5. लंबा और अनावश्यक संघर्ष**
बिना सही मार्गदर्शन के व्यक्ति को करियर में स्थिरता पाने में अधिक समय लग सकता है। इस प्रक्रिया में कई बार वह अनावश्यक संघर्ष और असफलताओं का सामना करता है, जिससे उसकी मानसिक और शारीरिक ऊर्जा प्रभावित होती है।

 **6. पारिवारिक और सामाजिक दबाव**
करियर काउंसलिंग न लेने वाले लोग अक्सर परिवार या समाज की अपेक्षाओं के अनुसार करियर चुनते हैं। यह न केवल उनके आत्म-संतोष को खत्म करता है, बल्कि उनकी रचनात्मकता और व्यक्तिगत विकास पर भी नकारात्मक प्रभाव डालता है।

 **7. भविष्य में पछतावा**
गलत करियर विकल्पों के कारण व्यक्ति अपने जीवन के कीमती साल गवां देता है। बाद में, जब उसे अपनी गलतियों का एहसास होता है, तो वह नए सिरे से शुरुआत करने में खुद को थका हुआ और असमर्थ महसूस करता है।

 **निष्कर्ष**
करियर काउंसलिंग न लेना ऐसा है जैसे बिना नक्शे के किसी अंजान सफर पर निकलना। सही दिशा और मार्गदर्शन के बिना व्यक्ति अपने लक्ष्यों तक नहीं पहुंच पाता। यह न केवल समय और संसाधनों की बर्बादी है, बल्कि यह व्यक्तिगत और पेशेवर जीवन में असंतोष का कारण भी बन सकता है।
इसलिए, यदि आप अपने भविष्य को लेकर गंभीर हैं, तो करियर काउंसलिंग में निवेश करें। यह एक ऐसा कदम है जो आपके सपनों को हकीकत में बदलने की दिशा में पहला और सबसे महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकता है।

Success Story of Anshika Sharma

 करियर काउंसलिंग ने बदल दी अंशिका की ज़िंदगी**

अंशिका शर्मा एक छोटे से कस्बे से ताल्लुक रखती थीं। उनके परिवार में शिक्षा का बहुत महत्व था, लेकिन करियर के सही विकल्प को लेकर कोई स्पष्टता नहीं थी। अंशिका बचपन से पढ़ाई में अच्छी थीं और उन्हें विज्ञान के विषयों में विशेष रुचि थी। 12वीं की परीक्षा पास करने के बाद, जब करियर चुनने की बारी आई, तो वह असमंजस में पड़ गईं।

**दुविधा की स्थिति**
अंशिका के माता-पिता चाहते थे कि वह डॉक्टर बने, लेकिन अंशिका को बायोलॉजी के बजाय मैथ्स और फिजिक्स में अधिक रुचि थी। उनके शिक्षक इंजीनियरिंग की सलाह दे रहे थे, जबकि दोस्तों ने कहा कि आईटी फील्ड में ज्यादा अवसर हैं। इतने विकल्पों के बीच अंशिका समझ नहीं पा रही थीं कि किस रास्ते पर चलें।

 **काउंसलिंग से मिला मार्गदर्शन**
इसी बीच, उनके एक रिश्तेदार ने उन्हें करियर काउंसलिंग का सुझाव दिया। अंशिका ने एक अनुभवी करियर काउंसलर से संपर्क किया।
– सबसे पहले काउंसलर ने अंशिका के व्यक्तित्व, रुचियों और क्षमताओं को समझने के लिए कुछ टेस्ट लिए।
– इन टेस्ट के परिणामों से यह स्पष्ट हुआ कि अंशिका को एनालिटिकल थिंकिंग और समस्या समाधान में गहरी रुचि है।
– काउंसलर ने अंशिका को डेटा साइंस और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) जैसे उभरते क्षेत्रों के बारे में बताया।

**सही दिशा में कदम**
काउंसलर के मार्गदर्शन के बाद, अंशिका ने कंप्यूटर साइंस में स्नातक डिग्री का चयन किया और साथ ही डेटा साइंस और मशीन लर्निंग के सर्टिफिकेशन कोर्स भी किए। उन्होंने मेहनत और लगन से अपनी पढ़ाई पूरी की और इंडस्ट्री के नए-नए कौशल सीखे।

 **सफलता की ओर बढ़ता सफर**
ग्रेजुएशन के बाद, अंशिका को एक प्रतिष्ठित मल्टीनेशनल कंपनी में डेटा एनालिस्ट के पद पर नौकरी मिली। कुछ वर्षों में, उन्होंने अपनी योग्यता और कौशल के दम पर प्रमोशन हासिल किया और अब वे एक सीनियर डेटा साइंटिस्ट के रूप में काम कर रही हैं। उनकी वार्षिक आय लाखों में है, और वह अपने करियर से बेहद संतुष्ट हैं।

 **अंशिका का संदेश**
अंशिका कहती हैं, “यदि मैंने करियर काउंसलिंग नहीं ली होती, तो मैं शायद सही निर्णय नहीं ले पाती। करियर काउंसलिंग ने मेरी रुचियों और क्षमताओं के अनुसार मुझे सही दिशा में आगे बढ़ने का रास्ता दिखाया। मैं सभी छात्रों को यह सलाह देना चाहती हूं कि वे करियर चुनने से पहले विशेषज्ञों से मार्गदर्शन लें।”

 **निष्कर्ष**
अंशिका की कहानी यह साबित करती है कि सही समय पर लिया गया सही मार्गदर्शन न केवल भ्रम को दूर करता है, बल्कि जीवन को नई दिशा और सफलता की ऊंचाइयों तक ले जा सकता है। करियर काउंसलिंग हर व्यक्ति के लिए महत्वपूर्ण हो सकती है, विशेषकर उन छात्रों के लिए जो अपने भविष्य को लेकर असमंजस में हैं।

Success Story of Rahul

 करियर काउंसलिंग ने बदली राहुल की दिशा**

राहुल, जो एक छोटे से गाँव में पले-बढ़े थे, हमेशा से अपने करियर को लेकर असमंजस में थे। स्कूल में पढ़ाई में औसत, और परिवार की आर्थिक स्थिति साधारण थी। घर वाले चाहते थे कि राहुल जल्द से जल्द कोई नौकरी करके परिवार की मदद करे, लेकिन राहुल का सपना कुछ बड़ा करने का था।

कक्षा 12वीं के बाद, राहुल को समझ नहीं आ रहा था कि किस दिशा में जाना है। उसी दौरान, उनके एक शिक्षक ने उन्हें करियर काउंसलिंग के लिए जाने की सलाह दी। राहुल ने हिचकिचाते हुए पास के शहर में एक करियर काउंसलर से संपर्क किया।

काउंसलिंग सत्र के दौरान, काउंसलर ने राहुल से उनके रुचि क्षेत्र, पसंदीदा विषय और दीर्घकालिक लक्ष्यों के बारे में बात की। साथ ही, राहुल को एक ऑनलाइन अप्टीट्यूड टेस्ट भी कराया गया। राहुल के परिणामों से पता चला कि वह रचनात्मक सोच और तकनीकी कौशल में अच्छे हैं। काउंसलर ने उन्हें ग्राफिक डिजाइनिंग और डिजिटल मार्केटिंग जैसे करियर विकल्प सुझाए।

राहुल ने काउंसलर की सलाह मानी और एक प्रमाणित ग्राफिक डिजाइनिंग कोर्स में दाखिला लिया। कोर्स के दौरान उन्होंने न केवल नई चीजें सीखी, बल्कि अपनी मेहनत और काबिलियत के दम पर फ्रीलांस प्रोजेक्ट्स करना भी शुरू किया। दो साल बाद, राहुल एक प्रसिद्ध डिज़ाइन एजेंसी में नौकरी पा गए और अपने गाँव का नाम रोशन किया।

आज राहुल कहते हैं, “अगर मैंने करियर काउंसलिंग नहीं ली होती, तो शायद मैं आज भी असमंजस में रहता। करियर काउंसलिंग ने मेरी जिंदगी बदल दी।”

**निष्कर्ष:**
करियर काउंसलिंग सही दिशा चुनने में आपकी मदद कर सकती है। यह न केवल आपके कौशल को निखारती है, बल्कि आपको आत्मविश्वास भी देती है कि आप अपने सपनों को साकार कर सकते हैं।

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